हर्षोदय टाइम्स/अशोक कुमार पांडे
फरेंदा /महराजगंज!जिले के नगर पंचयात आनन्द नगर में वेतन बकाया भुगतान को लेकर सभी कर्मचारियों ने नगर पंचयात कार्यालय परिसर में आज दूसरे दिन भी झाड़ू, ठेला रखकर हड़ताल पर बैठे रहे। इस वजह से पूरे नगर की सफाई व्यवस्था प्रभावित रही। सोमवार की शाम को नगर के स्ट्रीट लाइट की बिजली भी काट दी गयी थी। इसे सारा शहर अंधेरे में रहा।
कर्मचारी तानाशाही नहीं चलेगी, वेतन भुगतान तुरंत हो, वेतन नही तो काम नही का नारा लगाते हुए कार्यालय पर ताला भी लगा दिए। इस दौरान नगर पंचायत अध्यक्ष विजय लक्ष्मी जयसवाल अपने कार्यालय में बैठी थीं और अधिशाषी अधिकारी पूजा सिंह परिहार भी अपने कार्यालय में मौजूद थीं।
इस संबंध में नगर पंचयात अध्यक्ष विजय लक्ष्मी जयसवाल ने कहा की कर्मचारियों द्वारा हड़ताल व धरना प्रदर्शन किया जा रहा है इसके लिए अधिशासी अधिकारी पूजा सिंह परिहार जिम्मेदार हैं। कर्मचारियों को उकसाकर निकाय हित के विरुद्ध कार्य किया जा रहा है। हड़ताल के लिये पैसे की फंडिंग और मैट की व्यवस्था उनके द्वारा की गई। वे सरकार की छवि धूमिल कर सरकार विरोधी कार्य मे पूर्ण रूप से संलिप्त हैं। निकाय में कार्यरत कर्मचारियों को स्थलीय निरीक्षण कर सफाई हेतु अधिशासी अधिकारी को निर्देशित किया तो उन्होंने कार्य न कर कर्मचारियों को हड़ताल पर बैठने के लिए उकसाया । कर्मचारियों का वेतन नहीं बाधित किया गया है। वह कर्मचारियों को सामने खड़ा करके गलत तरीके से अपना और कार्यालय अधीक्षक और टंकड़ लिपिक का वेतन बनवाना चाहती हैं जबकि इन तीन लोगों से स्पष्टीकरण मांगा गया था। जबाब न मिलने पर इन तीन का वेतन रोका गया है। इसी क्रम में कार्यालय अधीक्षक व टंकड़ लिपिक को एक अप्रैल को निलम्बित किया गया।
अधिशाषी अधिकारी के इस कृत्य को उच्चाधिकारियों को पूर्व में ही अवगत करा दिया गया है।अध्यक्ष ने यहां तक आरोप लगया की यह जहां भी रही हैं, इनका विवादों से नाता रहा है।
अध्यक्ष विजय लक्ष्मी जायसवाल के आरोपों का खण्डन करते हुए अधिशाषी अधिकारी पूजा सिंह परिहार ने कहा कि हड़ताल की जिम्मेदार स्वयं अध्यक्ष हैं क्योंकि वेतन न मिलने से कर्मचारी हड़ताल पर हैं। निलम्बन के जबाव मे उन्होंने कहा कि मुझे कोई स्पस्टीकरण पत्र नही मिला है । कर्मचारियों को हाजिरी रजिस्टर में एक अपैल से निलंम्बित किया गया है जबकि जनवरी , फरवरी व मार्च का वेतन बाधित किया जा रहा है। वरिष्ठ लिपिक व टंकण लिपिक का निलंबन भी अवैध है। इन्होंने कहा की जो लोग नगर पंचयात का पैसा जमा नहीं किये हैं उनका आर सी काटा गया है उससे भी अध्यक्ष को नाराजगी है।
स्थित जो भी हो अगर शीघ्र ही अध्यक्ष और अधिशाषी अधिकारी का विवाद थमा नहीं तो कर्मचारियों की हड़ताल आगे जा सकती है और कस्बावासियों को कूड़ा और बिजली संकट से अभी और जूझना पड़ सकता है।